हरियाणा की 92 मंडियों में सरसों की खरीद शुरू, नमी ज्यादा होने के कारण कई जगह नहीं हुई बिक्री

News Desk: हरियाणा में किसानों की मांग पर प्रदेश की 92 मंडियों में सरसों की खरीद हैफेड ने शुरू कर दी है। लेकिन अधिकांश मंडियों में नमी की मात्रा अधिक होने के कारण अभी खरीद प्रक्रिया में सुस्ती नजर आ रही है।

वहीं कई जगहों पर 15 मार्च को भी पिछले दिनों की तरह एमएसपी (MSP) से कम दाम पर लाल सरसों की कॉमर्शियल खरीद हुई। वहीं रेवाड़ी, बावल व कोसली की अनाज मंडी में पहले दिन नमी ज्यादा होने के कारण सरसों की खरीद नहीं की गई।

झज्जर, महेंद्रगढ़, रोहतक, महम, दादरी और बाढड़ा में पहले दिन कोई भी किसान सरसों लेकर अनाज मंडी में नहीं पहुंचा। वहीं जींद शहर की अनाज मंडी में पहले दिन लगभग 100 किसान 2000 क्विंटल सरसों मंडी में लेकर पहुंचे। तो कई जिलों में दिनभर हैफेड का कोई कर्मचारी सरसों खरीदने के लिए नहीं पहुंचा। खरीदी के लिए बनाए गए ई-पोर्टल में खराबी होने के कारण दिनभर दिक्कत बनी रही।

सोनीपत, गोहाना अनाज मंडी में हैफेड कर्मी पहले दिन पंजीकृत किसानों के सरसों लेकर आने का इंतजार करते रहे । फतेहाबाद गेट पास नहीं बनने से सरसों की सरकारी खरीद नहीं हुई।

बताया गया है कि कॉमर्शियल खरीद में किसानों के लाल सरसों के भाव 4900 से 5100 रुपये प्रति क्विंटल तक मिल रहे हैं, जबकि तय मानकों के अनुसार सरकार ने सरसों का MSP 5450 रुपये प्रति क्विंटल तय किया है। वहीं पीला सरसों अच्छी डिमांड में बताया जा रहा है जोकि एमएसपी से अधिक दाम पर 5700 से 5750 रुपये प्रति क्विंटल तक बिक रहा है।

हैफेड के डीएम वीपी मलिक के मुताबिक अंबाला में सरसों की सरकारी खरीद प्रक्रिया के पहले दिन पांच बजे तक खरीद नहीं हुई, क्योंकि यहां मंडियों में सरसों में आठ की जगह 10 से 14 प्रतिशत तक नमी की मात्रा मिली है।

गौरतलब है कि सरकार ने पहले सरसों की खरीद के लिए 28 मार्च की तारीख तय की थी लेकिन किसानों की मांग के चलते किसी कृषि मंत्री जेपी दलाल ने पिछले दिनों 15 मार्च से एमएसपी पर सरसों की खरीद शुरू करने की घोषणा की थी।

Amann M Singh

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